Man in the middle cyber attack in Agra, Chemical businessman duped Rs 36 Lakh
आगरालीक्स…. आगरा में एक करोबारी के साथ वियतनाम के हैकर्स ने मैन इन द मिडिल अटैक किया है, इससे उनके एकाउंट से 36 लाख रुपये ट्रांसफर करा लिए, इंटर पोल की मदद से आगरा की साइबर सेल कारोबारी के रुपये वापस कराने के प्रयास में जुटी है।
आगरा के एमिनेंट अपार्टमेंट निवासी अनुज अग्रवाल का केमिकल का कारोबार है, वे वियतनाम की फर्म से केमिकल मगाते हैं। यह काम वे कंपनी की ईमेल आईडी और वियतनाम की फर्म की ईमेल आईडी के माध्यम से करते हैं। जून में वियतनाम की कंपनी की तरह बनाई गई फर्जी ईमेल आईडी से मेल आया, इसमें कहा गया कि कंपनी एक दूसरी कंपनी में मर्ज हो गई है, इसके चलते एकाउंट नंबर बदल गए हैं। अब सभी भुगतान नए एकाउंट में किए जाएं।
20 से 30 जून के बीच किया 36 लाख पैमेंट
अनुज अग्रवाल ने वियतनाम की फर्म से केमिकल मंगाने के लिए आॅर्डर भेजा, फर्म को तीन किश्त में 20 से 30 जुलाई के बीच 36 लाख का भुगतान एकाउंट में कर दिया। उधर, वियतनाम की फर्म को अनुज अग्रवाल की फर्म की ईमेल आईडी से मेल मिला, इसमें कहा गया कि जीएसटी के कारण भुगतान करने में देर हो रही है।
व्हाटस एप पर मैसेज से खुला मामला
10 जुलाई को वियतनाम की फर्म ने अनुज अग्रवाल के व्हाटस एप नंबर पर मैसेज कर पूछा कि भुगतान कब तक हो जाएगा, केमिकल की सप्लाई कर दी गई है, इससे अनुज अग्रवाल के होश उड गए, उन्होंने अपने एकाउंट से ट्रांसफर किए 36 लाख रुपये का रिकॉर्ड व्हाटस पर भेज दिया। इसके बाद कंपनी ने भी जांच कराई तो मामला खुलता चला गया। वियतनाम की कंपनी ने हनोई में मुकदमा दर्ज कराया है।
मैन इन मिडिल अटैक
साइबर एक्सपर्ट इसे मैन इन मिडिल अटैक मानते हैं, इसके लिए कई महीने से प्लानिंग की जाती है। इस मामले में भी वियतनाम के हैकर्स ने अनुज अग्रवाल और उनकी कंपनी के ईमेल पर दो महीने तक नजर रखी। इसके बाद उन्होंने फेक ईमेल आईडी बनाई और उन दोनों के बीच में घुस गए, एक दूसरे की एक्टिविटी देखते रहे, अपने माध्यम से दोनों को मेल किए गए। इस तरह दोनों में से किसी को भी पता नहीं चल सका।
इंटरपोल की मदद
आगरा की साइबर सेल इस मामले में इंटरपोल की मदद ले रही है, वियतनाम की पुलिस से भी संपर्क किया गया है।